एक झूठी और भ्रामक तुलना
विगत 6 मई 2023 को ब्रिटेन के नए राजा की ताजपोशी राष्ट्र प्रमुख के तौर पर हुई. उसके बाद से ही कुछ उदारवादी, अराजकतावादी और खुद को वामपंथी या समाजवादी कहने वाले लोग राजशाही विरोधी प्रदर्शनों की गिरफ्तारी का जिक्र करते हुए कह रहे हैं कि "यह उत्तर कोरिया जैसा है". ऐसे बयान कई झूठी तुलनाओं पर आधारित होते हैं और समझ की कमी दिखाते हैं, इन बयानों से वे यह बताने की कोशिश कर रहे हैं कि मानो जनवादी कोरिया एक भयानक जगह हो.
जनवादी कोरिया एक राजशाही नहीं है. काॅमरेड किम जंग उन राज्य के निर्वाचित प्रमुख हैं और उन्हें वर्कर्स पार्टी ऑफ कोरिया के महासचिव के रूप में चुना गया है. कॉमरेड किम जंग उन को पहली बार 2010 में वर्कर्स पार्टी ऑफ कोरिया (जो पार्टी के लाखों सदस्यों और उनके परिवारों का प्रतिनिधित्व करते थे) के सम्मेलन में पार्टी के केंद्रीय सैन्य आयोग के उपाध्यक्ष के रूप में और केंद्रीय समिति के सदस्य के रूप में चुना गया था. बाद में 2012, 2016 2021 में काॅमरेड किम जंग उन को वर्कर्स पार्टी के सम्मेलन और सुप्रीम पीपुल्स असेंबली द्वारा पार्टी और राज्य के शीर्ष पदों के लिए चुना गया था. एक राजशाही के तहत राज्य का प्रमुख निर्वाचित नहीं होता है.
जनवादी कोरिया में कोई ताजपोशी नहीं थी, कोई गोल्डन कोच नहीं था, बल्कि आम मेहनतकश लोग पार्टी और सुप्रीम पीपुल्स असेंबली जैसे प्रतिनिधि अंगों के माध्यम से एक नए नेता के लिए मतदान कर रहे थे.
जनवादी कोरिया के संस्थापक काॅमरेड किम इल संग एक गरीब किसान के बेटे थे. उन्होंने जंगलों में रहते हुए जापानी साम्राज्यवादियों के साथ 15 साल तक सशस्त्र संघर्ष किया. उन्होंने एक साधारण जीवन व्यतीत किया था और अक्सर मजदूरों और किसानों के समान कपड़े पहने थे और कई बार साधारण कार्य इकाइयों और गांवों का दौरा किया था.
काॅमरेड किम जंग इल ने वास्तव में राजधानी फ्यंगयांग के निर्माण स्थलों पर और फ्यंगयांग टेक्सटाइल मशीन फैक्ट्री में लेथ नंबर 26 पर एक साधारण मजदूर की तरह काम किया. उन्होंने कई वर्षों तक एक ही तरह का कपड़ा पहना. बारिश, बर्फबारी या धूप, काॅमरेड किम जंग इल ने मौके पर मार्गदर्शन दिया. सितंबर 1994 से दिसंबर 1999 तक देश की अत्यंत कठिन परिस्थितियों में कॉमरेड किम जंग इल ने 247 बार मौके पर मार्गदर्शन दिया जिसकी दूरी का हिसाब निकाला जाए तो वह 129,000 किमी निकलता है.
काॅमरेड किम जंग उन भी एक सच्चे जननेता हैं जो आम लोगों से मिलते हैं और देश के कुछ हिस्सों में बाढ़ आने पर सबसे पहले सामने आए थे.
जनवादी कोरिया एक समाजवादी देश है, यहाँ उत्पादन, वितरण और विनिमय के साधनों का सामाजिक और सामूहिक स्वामित्व है.जनता हर चीज की मालिक है. इसके अलावा काॅमरेड किम जंग उन और पूर्ववर्ती नेताओं के पास न तो कोई निजी संपत्ति है और थी. उनका निवास आदि राज्य की संपत्ति है.
जनवादी कोरिया में 'असहमति को कुचला' नहीं जाता है.वास्तव में जनवादी कोरिया के लोग अपने कार्यस्थलों पर अर्थव्यवस्था की योजना पर चर्चा करने में सक्षम हैं और लोगों की पड़ोस ईकाईयों (인민반) के माध्यम से अपने इलाकों को भी चलाते हैं. पडो़स ईकाईयां शासन की सबसे निचली ईकाई है और प्रत्येक ईकाइयों में मुहल्ले के 40-50 घर शामिल रहते हैं और प्रत्येक ईकाई के लोग अपने प्रतिनिधि (인민반장)को चुनते हैं और उसके माध्यम से स्थानीय स्तर पर अपने सुझाव या शिकायत दर्ज करने के अलावा विकास कार्य करते हैं.
पश्चिम के तथाकथित 'लोकतांत्रिक देशों' और विश्वगुरु के सबसे बड़े लोकतंत्र में, वास्तविक निर्णय निर्वाचित निकायों द्वारा नहीं बल्कि वास्तव में बड़े निगमों, बैंकों, भूस्वामियों और सिविल सेवा के ऊपरी तबकों द्वारा किए जाते हैं, जिनमें से कोई भी जनता द्वारा निर्वाचित नहीं होता है.आपने कभी अमेज़न , टेस्को, सैमसंग, रिलायंस, अडानी इंटरप्राइजेज के बॉस को वोट कब दिया? सीधा - सा जवाब है 'नहीं! और आपके द्वारा तथाकथित निर्वाचित प्रतिनिधि खुल्लमखुल्ला इनकी दलाली करते हैं.
जनवादी कोरिया में, सभी नागरिकों के पास पक्के रोजगार की गारंटी, मुफ्त आवास, लगभग मुफ्त भोजन, मुफ्त स्वास्थ्य देखभाल, मुफ्त शिक्षा है और साथ ही उन्हें कोई टैक्स नहीं देना होता है, इसलिए लोगों के पास विरोध करने के लिए कुछ भी नहीं है. जबकि दुनिया की कथित सारी "लिबरल डेमोक्रेसियों" में इन्हीं मुद्दों को लेकर विरोध होता रहता है.
इसके अलावा जनवादी कोरिया में नेता, पार्टी और जनता के बीच अटूट एकता है जो दुनिया में कहीं और मौजूद नहीं है.
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